मेला, जीडीए, साडा में कोई नियुक्ति नहीं; भविष्य पर संकट
लंबे इंतजार के बाद आखिरकार मध्य प्रदेश सरकार ने निगम - मंडलों में राजनीतिक नियुक्तियां बीती देर सायं को कर दी, लेकिन मजेदार बात यह है कि साडा, जीडीए और मेला प्राधिकरण अभी भी खाली है। निगम मंडलों में नियुक्तियों को लेकर लंबे समय से मंथन चल रहा था। हर बड़े नेता की अपने समर्थक को एडजस्ट करने के लिए जोर आजमाईश थी। परंतु सबसे ज्यादा निगम मंडलों पर केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया समर्थकों का कब्जा हो गया है। उपचुनाव में हार का मुंह देखने वाले सिंधिया समर्थक नेताओं की बल्ले - बल्ले हो गई है। बड़े बोर्ड इनके हाथ…
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लंबे इंतजार के बाद आखिरकार मध्य प्रदेश सरकार ने निगम – मंडलों में राजनीतिक नियुक्तियां बीती देर सायं को कर दी, लेकिन मजेदार बात यह है कि साडा, जीडीए और मेला प्राधिकरण अभी भी खाली है।
निगम मंडलों में नियुक्तियों को लेकर लंबे समय से मंथन चल रहा था। हर बड़े नेता की अपने समर्थक को एडजस्ट करने के लिए जोर आजमाईश थी। परंतु सबसे ज्यादा निगम मंडलों पर केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया समर्थकों का कब्जा हो गया है। उपचुनाव में हार का मुंह देखने वाले सिंधिया समर्थक नेताओं की बल्ले – बल्ले हो गई है। बड़े बोर्ड इनके हाथ आये हैं जबकि केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह के किसी भी समर्थक को कोई निगम मंडल नहीं मिल सका है। इससे सिंधिया का दबदबा जहां बढता जा रहा है, वहीं ठाकुर साहब कमजोर साबित हो रहे है। इधर निगम मंडलों में नियुक्तियों के बीच तीन प्रतिष्ठित बोर्ड मेला प्राधिकरण, जीडीए और साडा में सरकार ने कोई राजनैतिक नियुक्ति नहीं की है। इससे इनके भविष्य पर काले बादल मंडरा रहे है। मेला लगने को लेकर जहां अब तक कोई चर्चा नहीं है। वहीं चर्चा है कि जीडीए और साडा को खत्म कर नगर निगम में विलय किया जा सकता है।
मेला, जीडीए, साडा में कोई नियुक्ति नहीं; भविष्य पर संकट
लंबे इंतजार के बाद आखिरकार मध्य प्रदेश सरकार ने निगम - मंडलों में राजनीतिक नियुक्तियां बीती देर सायं को कर दी, लेकिन मजेदार बात यह है कि साडा, जीडीए और मेला प्राधिकरण अभी भी खाली है। निगम मंडलों में नियुक्तियों को लेकर लंबे समय से मंथन चल रहा था। हर बड़े नेता की अपने समर्थक को एडजस्ट करने के लिए जोर आजमाईश थी। परंतु सबसे ज्यादा निगम मंडलों पर केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया समर्थकों का कब्जा हो गया है। उपचुनाव में हार का मुंह देखने वाले सिंधिया समर्थक नेताओं की बल्ले - बल्ले हो गई है। बड़े बोर्ड इनके हाथ…
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